Sunday, May 30, 2010
Saturday, May 29, 2010
Thursday, May 27, 2010
पांचवे भोजपुरी फिल्म अवार्ड में रवि का जलवा
भोजपुरी फिल्मो के सदाबहार सुपर स्टार रविकिशन ने लगातार पांचवी बार भोजपुरी के सर्वश्रेष्ट अभिनेता का खिताब जीता है। वहीँ सर्वश्रेष्ट अभिनेत्री का खिताब जीता पाखी हेगड़े ने। सर्वश्रेष्ट फिल्म का खिताब मिला अभय सिन्हा - अजय सिन्हा की फिल्म परिवार को, इसी फिल्म के लिए निर्देशक असलम शेख ने लगातार दूसरी बार सर्वश्रेष्ट निर्देशक का अवार्ड पाया । अपने जमाने की प्रख्यात अभिनेत्री जय श्री टी को लाइफ टाईम अचीवमेंट अवार्ड से व भोजपुरी फिल्मो के बड़े प्रस्तुतकर्ता दुर्गा प्रसाद को भगवती प्रसाद गुप्ता स्पेशल अवार्ड से सम्मानित किया गया। वहीं अवधेश मिश्रा को खलनायकी में सिरमोर माना गया। मुंबई के गोरेगांव स्पोर्ट्स क्लब में विनोद गुप्ता द्वारा आयोजित एक भव्य समारोह में रंगारंग कार्यक्रम के बीच २८ श्रेणियों में अवार्ड दिया गया। म्यूजिक केटेगरी में सारे अवार्ड निर्माता निर्देशक आर.एस.दुबे की फिल्म उमरिया कईली तोहरे नाम को मिला। गायिका का अवार्ड स्वर कोकिला लता मंगेशकर को, संगीतकार का अवार्ड राम लक्षमण को और गीतकार का अवार्ड विनय बिहारी को मिला। इसी फिल्म के लिए नवोदित अभिनेता का पुरस्कार आशीष गुप्ता को मिला। सर्वश्रेष्ट गायक का अवार्ड मिला उदित नारायण को। नवोदित अभिनेत्री का अवार्ड चलनी के चालाल दूल्हा के लिए शुभी शर्मा को मिला। पांचवे भोजपुरी फिल्म अवार्ड में रवि किशन व निरहुआ की फिल्मो का ही वर्चस्व रहा। रविकिशन को निर्देशक हेरी फ़र्नान्डिस की फिल्म भूमिपुत्र के लिए सर्वश्रेष्ठ अभिनेता का, मुश्ताक खान को बेस्ट कोमेडियन का और हेरी को सर्वश्रेष्ठ संवाद लेखक के पुरस्कार से सम्मानित किया गया। सीमा सिंह को सर्वश्रेष्ठ आइटम गर्ल का खिताब मिला अवार्ड पाने के बाद अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए रविकिशन ने कहा की जब पहला अवार्ड हो रहा था तब भोजपुरी फिल्मे अपने शुरुवाती दौर से गुजर रही थी। आज पांचवे साल भोजपुरी फिल्मे कान फिल्म फेस्टिवल तक पहुँच चुकी है।
अवधेश की दिलेरी
भोजपुरी फिल्मो के सबसे बड़े खलनायक अवधेश मिश्र की दिलेरी की चर्चा इन दिनों भोजपुरी फिल्म जगत में आम है। पिछले दिनों सिलवासा में निर्मात्री मोनिका सिन्हा की निरहुआ स्टारर फिल्म लोफर की शूटिंग के दौरान अपने हाथ से शीशा तोड़कर अस्पताल पहुँचने वाले अवधेश ने अपने गहरे ज़ख़्म की परवाह किये बिना ही मात्र तीन दिन बाद बाकी की शूटिंग पूरी की वो भी तब जब उनके ज़ख़्म का टांका भी नहीं कटा था। पांचवे भोजपुरी फिल्म अवार्ड में सर्वश्रेष्ठ खलनायक का पुरस्कार पा चुके अवधेश कहते हैं की शूटिंग के दौरान घायल होना एक हादसा था, अगर उनकी वजह से कुछ दिन और शूटिंग रूकती तो निर्माता को भारी नुकसान उठाना पड़ता , इसीलिए उन्होंने अपने ज़ख़्म की परवाह नहीं की। उल्लेखनीय है की हादसे की वजह से अवधेश को दो दिनों तक वापी के अस्पताल में भर्ती रहना पड़ा था।
News in SALAM BHOJPURIA
असल खलनायक ऊ हऽ जेकरा के पर्दा पर देखते पूरा हाल गरियावे लागे. जेकरा नाम पर केहू अपना बच्चा के नाम ना राखे चाहे. बाकिर उ कवनो सुपर स्टार से कम मशहूर ना होला. फिलिम के सफलता में ओकरो योगदान ओतने खास होला जतना कि कवनो चाकलेटिया हीरो के.
भोजपुरी सिनेमा के तीन गो मशहूर स्टार का संगे एगो खलनायको के नाम दर्शकन का जबान पर चढ़ गइल बा, अवधेश मिश्रा के यानि हमार . चार साल का अपना फिल्मी कैरियर में हम अवशेध मिश्रा भोजपुरी फिल्मन में खलनायकी के एगो नया दिहले बानी .
'कहाँ जइबऽ राजा नजरिया लड़ाई के' और हाल में ओढनिया कमाल करे खातिर सर्वश्रेष्ठ खलनायक के पुरस्कार जीत चुकली हम बिहार के सीतामढ़ी जिला के सुतिहरा गाँव के मूल निवासी बानी । लड़िकाइयें से अभिनय के शौकीन हम पहले रंगमंच पर आपन अभिनय क्षमता देखावनी . पहिले पटना रंगमंच पर फेरु दिल्ली रंगमंच पर. दस साल तक मुंबई में मशक्कत करिके फिल्म इण्डस्ट्री में आपन जगह बनवनी . हमार पहिलका फिल्म 'दुल्हा अइसन चाहीं' रहे , ओकरा बाद त हम दू दर्ज़न से जादा फिल्मान में काम कर चुकल बानी। रौवा लोगन के आशीर्वाद रही त हम आपण माती के क़र्ज़ जरूर चुकायम । हमार आदर्श हिन्दी सिनेमा के मशहूर खलनायक प्राण हवन. अवधेश के तमन्ना बा कि भोजपुरी फिल्म इण्डस्ट्री बालीवुडो से आगा जाव.
अवधेश मिश्रा के आवे वाला फिलिम बाड़ी स 'भोजपुरिया डॉन', 'विधाता', 'आपन माटी आपन देश,' 'बिहारी माफिया,' 'लागल रहऽ ऐ राजा जी'।
भोजपुरी सिनेमा के तीन गो मशहूर स्टार का संगे एगो खलनायको के नाम दर्शकन का जबान पर चढ़ गइल बा, अवधेश मिश्रा के यानि हमार . चार साल का अपना फिल्मी कैरियर में हम अवशेध मिश्रा भोजपुरी फिल्मन में खलनायकी के एगो नया दिहले बानी .
'कहाँ जइबऽ राजा नजरिया लड़ाई के' और हाल में ओढनिया कमाल करे खातिर सर्वश्रेष्ठ खलनायक के पुरस्कार जीत चुकली हम बिहार के सीतामढ़ी जिला के सुतिहरा गाँव के मूल निवासी बानी । लड़िकाइयें से अभिनय के शौकीन हम पहले रंगमंच पर आपन अभिनय क्षमता देखावनी . पहिले पटना रंगमंच पर फेरु दिल्ली रंगमंच पर. दस साल तक मुंबई में मशक्कत करिके फिल्म इण्डस्ट्री में आपन जगह बनवनी . हमार पहिलका फिल्म 'दुल्हा अइसन चाहीं' रहे , ओकरा बाद त हम दू दर्ज़न से जादा फिल्मान में काम कर चुकल बानी। रौवा लोगन के आशीर्वाद रही त हम आपण माती के क़र्ज़ जरूर चुकायम । हमार आदर्श हिन्दी सिनेमा के मशहूर खलनायक प्राण हवन. अवधेश के तमन्ना बा कि भोजपुरी फिल्म इण्डस्ट्री बालीवुडो से आगा जाव.
अवधेश मिश्रा के आवे वाला फिलिम बाड़ी स 'भोजपुरिया डॉन', 'विधाता', 'आपन माटी आपन देश,' 'बिहारी माफिया,' 'लागल रहऽ ऐ राजा जी'।
Sunday, May 16, 2010
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